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महिलाओं में सर्वाइकल कैंसर के 6 मुख्य लक्षण

सर्वाइकल कैंसर सर्विक्स में विकसित होता हैं। सामान्यत इसके कोई लक्षण दिखाई नहीं देते हैं जिसकी वजह से सर्वाइकल कैंसर का उचित समय पर पता नहीं चल पता। अगर इसका सही समय पर इलाज ना किया जाये तो यह जानलेवा भी हो सकता है। इसीलिए अपने शरीर में होने वाले परिवर्तनों पर ध्यान देना चाहिए ताकि सही समय पर सर्वाइकल कैंसर का पता चल सकें।

गर्भाशय ग्रीवा (cervix) महिला के गर्भाशय का सबसे निचला अंग होता है जो गर्भाशय को योनि से जोड़ता है। जब सर्विक्स में कोशिकाएं असामान्य और तेज़ीं से बढ़ती हैं तब सर्वाइकल कैंसर विकसित होता है। सर्वाइकल कैंसर खतरनाक होता है क्योंकि कई बार इसके कोई लक्षण दिखाई नहीं देते हैं और अगर इसका पता नहीं चला तो यह जानलेवा हो सकता है। 

सर्वाइकल कैंसर का मुख्य कारण ह्यूमन पैपिलोमावायरस (HPV) है। इसके अलावा, अन्य कारणों में एक से अधिक यौन साथी, यौन संचारित रोग (STDs), गर्भनिरोधक गोलियों का लंबे समय तक उपयोग, धूम्रपान, HIV संक्रमण, या अंग प्रत्यारोपण शामिल हैं। 

 

कैसे पता करें कि आपको सर्वाइकल कैंसर है?

 

आमतौर पर सर्वाइकल कैंसर जब तक एडवांस स्टेज तक ना पहुँच जाये तब तक कोई लक्षण नहीं दिखते। प्रारंभिक अवस्था में, कैंसर सर्विक्स की सीमा के अंदर ही रहता है। लेकिन एडवांस स्टेज में यह यकृत, मूत्राशय, योनि, और मलाशय सहित शरीर के अन्य भागों में भी फैलने लगता है। 

उचित स्क्रीनिंग और टीकाकरण के कारण सर्वाइकल कैंसर महिलाओं में सबसे अधिक रोके जाने वाले कैंसर में से भी एक है। नियमित जांच (screening) ना केवल कैंसर की पूर्व वृद्धि (precancerous stage) का पता लगाने के लिए महत्वपूर्ण है, बल्कि अन्य बीमारियाँ का पता लगाने में मदद मिलती है जिन्हें औरतें अनदेखा कर देती है क्योकि उनके लक्षण सामान्य बीमारियों जैसे अनियमित मासिक धर्म, यीस्ट संक्रमण, या यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन (UTI) से मिलते हैं। 

आइए सर्वाइकल कैंसर के इन 6 लक्षणों के बारे में जानकारी लेते हैं। अगर आप इनमें से किसी को भी नोटिस करते हैं, तो तुरंत अपने स्त्री रोग विशेषज्ञ से संपर्क करें:

  • असामान्य योनि (vaginal) रक्तस्राव:

यह सर्वाइकल कैंसर का आम लक्षण है। आमतौर पर बिना माहवारी के वैजिनल रक्तस्राव तब होता है जब कैंसर आसपास के ऊतकों में फैल गया हो। महिलाएं अक्सर अनियमित रक्तस्राव को सामान्य स्पॉटिंग ही सोचती है, हालांकि, अगर आपको किसी भी प्रकार के असामान्य रक्तस्राव होता है, चाहे वह संभोग के बाद हो, पेल्विक एग्जाम, रजोनिवृत्ति या रक्तस्राव जिसके परिणामस्वरूप थकान और चक्कर आते हैं, तो आपको स्त्री रोग विशेषज्ञ से परामर्श लेना चाहिए। मासिक धर्म चक्र की कोई भी दिक़्क़त जैसे भारी रक्तस्राव, लंबे समय या चक्रों के बीच रक्तस्राव को भी समान रूप से महत्व देना चाहिए।

  • योनि से असमान्य स्राव (discharge):

कभी-कभी योनि से स्राव होना एक आम बात हैं। हालाँकि ये स्राव आपके योनि के स्वास्थ्य का संकेतक हो सकता है। सर्वाइकल कैंसर में आप दुर्गंधयुक्त और गुलाबी, भूरा या खूनी रंग के डिस्चार्ज को नोटिस कर सकते हैं। कभी-कभी, डिस्चार्ज में ट्यूमर के ऊतक या टुकड़े भी उपस्थित हो सकते हैं, जिससे एक दुर्गंधयुक्त योनि स्राव निकलता है। अगर आपको पीला, पानी जैसा भूरा या खून के साथ मिला हुआ डिस्चार्ज लगातार हो रहा है, तो इसे नज़रअंदाज़ करें और तुरंत अपने स्त्री रोग विशेषज्ञ से मिलें। 

  • बिना किसी कारण वजन कम होना:

अन्य कैंसर की तरह, सर्वाइकल कैंसर में अचानक वजन कम होने के साथ भूख लगना भी महसूस किया जाता है। यदि आपने हाल के दिनों में बिना खाने में बदलाव के आपका वजन तेजी से कम होता लगता हैं, तो यह खतरे का संकेत है। आमतौर पर थकान के साथ बिना किसी वजह के वजन का कम होना सर्वाइकल कैंसर का संकेत हो सकता है।

  • संभोग करते समय दर्द:

एडवांस सर्वाइकल कैंसर में महिलाओं को संभोग करते समय अत्यंत दर्द का अनुभव हो सकता है. मेडिकल भाषा में डिस्पेर्यूनिया कहे जाने वाला यह दर्द प्रजनन अंगों में ट्यूमर के कारण हो सकता है। इस दर्द के साथ महिलाओं को कामेच्छा की कमी और संभोग के समय तीव्र बेचैनी भी महसूस हो सकती हैं।

  • पेल्विक या पीठ के निचले हिस्से में दर्द:  

पेल्विक या निचली पीठ का दर्द अक्सर सर्विक्स में होने वाले असामान्य परिवर्तन की ओर इशारा करते हैं। सर्वाइकल कैंसर में महिलाओं को पीठ के निचले हिस्से में दर्द हो सकता है| इस कैंसर की एडवांस स्टेज में (जब कैंसर आंतों, मूत्राशय, फेफड़ों या यकृत तक पहुँच गया हो) व्यक्ति को लगतार पीठ और पैर में तेज दर्द महसूस होता है| अगर आपको निचली पीठ में दर्द है, तो अपनी स्त्री रोग विशेषज्ञ से सलाह लें|

  • मल में मुश्किल

अगर आपको मूत्र और मल त्यागने में तकलीफ़ होती है तो यह भी सर्वाइकल कैंसर का एक संकेत हो सकता है| कई बार जब यह कैंसर मूत्राशय, किड्नी, या कोलन (बड़ी आँत) में फैल जाता है और उन क्षेत्रों में प्रेशर लगाता है जहाँ से मूत्र और मल त्यागने में तकलीफ़ होती है| ये लक्षण ज़्यादातर इस कैंसर की एडवांस स्टेज में दिखते है|

सर्वाइकल कैंसर पर हुए कई अध्ययनों से पता चला है की इस कैंसर का पता अगर प्रारंभिक अवस्था में ही लग जाए तो जीवित रहने की संभावना 80% तक हो सकती है

यदि आपको या आपके जानने वालों में उपर्युक्त लक्षण दिखाई दे रहे हैं तो तुरंत अपने स्त्री रोग विशेषज्ञ से सलाह लें|

Medanta Medical Team
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